अन इवनिंग इन पेरिस (1967)
संगीतकार : शंकर जयकिशन
गीतकार : हसरत जयपुरी, शैलेन्द्र
- अजी ऐसा मौक़ा फिर कहाँ मिलेगा, आओ तुम को दिखलाता हूँ .....मोहम्मद रफ़ी
- अकेले अकेले कहाँ जा रहे हो हमें साथ लेलो जहां जा रहे हो .....मोहम्मद रफ़ी
- दीवाने का नाम तो पूछो प्यार से देखो काम तो पूछो .....मोहम्मद रफ़ी
- होगा तुम से कल भी सामना तब तो मानोगे .......मोहम्मद रफ़ी
- मेरा दिल है तेरा, तेरा दिल है मेरा, जब से हमने दिल बदले हैं ......मोहम्मद रफ़ी
- ओ जानेमन दिल दारा .....आसमान से आया फ़रिश्ता ....मोहम्मद रफ़ी
- रात के हमसफ़र थक के घर को चले .......रफ़ी, आशा
No comments:
Post a Comment